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Masik Shivratri 2024: मासिक शिवरात्रि पर बन रहा हैं भद्रावास योग का निर्माण, मिलेगा बहुत लाभ

jeevanjali Published by: कोमल Updated Thu, 02 May 2024 05:01 PM IST
सार

Masik Shivratri 2024: मासिक शिवरात्रि हर महीने कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाई जाती है। ऐसा माना जाता है कि मासिक शिवरात्रि का व्रत करने से भगवान शंकर प्रसन्न होते हैं। 

मासिक शिवरात्रि
मासिक शिवरात्रि- फोटो : jeevanjali

विस्तार

Masik Shivratri 2024: मासिक शिवरात्रि हर महीने कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाई जाती है। ऐसा माना जाता है कि मासिक शिवरात्रि का व्रत करने से भगवान शंकर प्रसन्न होते हैं। शास्त्रों के अनुसार देवी लक्ष्मी, सरस्वती, इंद्राणी, गायत्री, सावित्री और माता पार्वती ने शिवरात्रि का व्रत किया था और शिव की कृपा से उन्हें अनंत फल प्राप्त हुआ। माघ महीने में मासिक शिवरात्रि व्रत 8 फरवरी 2024, गुरुवार को मनाया जाएगा। धार्मिक मान्यता है कि चतुर्दशी की रात को भगवान शिव का देवी पार्वती से विवाह हुआ था। इसलिए मासिक शिवरात्रि पर रात के समय पूजा करना बहुत शुभ माना जाता है। आपको बता दें कि इस दिन भद्रावास योग का निर्माण हो रहा है 

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शुभ मुहूर्त

वैशाख मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि 06 मई को दोपहर 02:41 मिनट पर शुरू होगी और 07 मई को सुबह 11:40 मिनट पर  समाप्त होगी। निशा काल में मासिक शिवरात्रि के दौरान भगवान शिव की पूजा की जाती है। इसलिए मासिक शिवरात्रि 6 मई को मनाई जाएगी. साधक 6 मई को भगवान शिव के निमित्त मासिक शिवरात्रि का व्रत रख सकते हैं।

योग 

ज्योतिषियों के मुताबिक मासिक शिवरात्रि पर प्रीति योग बन रहा है. इस योग का निर्माण देर रात 12 बजकर 29 मिनट तक है। इसके बाद आयुष्मान योग का संयोग बन रहा है। ज्योतिष शास्त्र प्रीति और आयुष्मान योग को शुभ मानता है। इन योगों में भगवान शिव की पूजा करने से साधक की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं।
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भद्रावास

ज्योतिषियों के अनुसार वैशाख मासिक शिवरात्रि पर दुर्लभ भाद्रवास योग बन रहा है। यह योग शाम से लेकर रात होने तक बन रहा है। यह योग शाम 05:43 मिनट से देर रात 01:09 मिनट तक बन रहा है. इस दौरान महादेव की पूजा करने से साधक को भगवान शिव का आशीर्वाद प्राप्त होगा। शास्त्रों में यह निहित है कि भद्रा के स्वर्ग या पाताल में रहने के दौरान, पृथ्वी पर सभी जीवित प्राणियों को आशीर्वाद मिलता है। यह योग शुभ है.



भगवान शिव का नमस्कार मंत्र

शम्भवाय च मयोभवाय च नमः शंकराय च मयस्कराय च नमः शिवाय च शिवतराय च।
ईशान: सर्वविद्यानामीश्वरः, सर्वभूतानां ब्रह्माधिपतिमहिर्बम्हनोधपतिरभम्हा शिवो मे अस्तु सदाशिवोम।

भगवान शिव का महामृत्युंजय मंत्र

ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम्।
उर्वारुकमिव बन्धनान् मृत्योर्मुक्षीय मामृतात्।

भोलेनाथ का नामावली मंत्र

• श्री शिवाय नम:
• श्री शंकराय नम:
• श्री महेश्वराय नम:
• श्री संबसदा शिवाय नम:
• श्री रूद्राय नम:
• ॐ पार्वतीपतये नम:
 
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